भोरमदेव अभ्यारण्य में नदी के बहाव में आने से पालतु भैंस की हुई मृत्यु
ग्राम राजानवागांव के पास को नदी के बहाव में आकर मृत पालतू भैंस प्राप्त हुई। वनमंडलाधिकारी, कवर्धा द्वारा प्राप्त जानकारी के अनुसार, सोशल मीडिया पर वायरल हो रही अपुष्ट खबरों को स्पष्ट करते हुए बताया गया कि किसी भी ग्रामीण ने बाघ को नहीं देखा है और न ही किसी गाय या भैंस का शिकार बाघ द्वारा किया गया है।
मृत पालतू भैंस ग्राम चौरा के दुलारी व. समलिया यादव की है। को दुलारी के चार भैंस नदी किनारे चराई कर रहे थे, तभी असामाजिक तत्वों की आवाज सुनकर भैंस नदी में कूद गई। तीन भैंस बाहर निकल गईं, जबकि एक भैंस बह गई। 11.09.2024 को बाघूटोला के समीप मिली मृत भैंस की जांच में पता चला कि भैंस की मृत्यु नदी में पत्थर और चट्टानों से टकराने के कारण हुई, न कि किसी हिंसक वन्यप्राणी द्वारा।
भोरमदेव अभ्यारण्य क्षेत्र में बाघ के पगमार्क की पुष्टि की गई है, लेकिन वन्यप्राणियों द्वारा किसी भी प्रकार की हानि की सूचना नहीं मिली है। वन प्रबंधन समिति, बी.एम.सी., और सरपंचों को वन्यप्राणी सुरक्षा से संबंधित दिशा-निर्देश दिए गए हैं। सभी संबंधित अधिकारी और कर्मचारी अपने क्षेत्रों का नियमित निरीक्षण करेंगे और किसी भी गतिविधि की जानकारी वरिष्ठ कार्यालय को देंगे।