भोरमदेव महोत्सव 2025: पद्मश्री अनुज शर्मा के सुरों और लेजर शो की रोशनी में रंगीन हुआ समापन समारोह

कवर्धा। छत्तीसगढ़ की समृद्ध लोकसंस्कृति, कला और परंपराओं को सहेजने वाले भोरमदेव महोत्सव 2025 का भव्य समापन समारोह भक्ति, संगीत और नृत्य के रंग में सराबोर होकर संपन्न हुआ। इस आयोजन ने न केवल प्रदेशवासियों और पर्यटकों को छत्तीसगढ़ी लोकसंस्कृति की अनमोल झलक दिखाई, बल्कि उन्हें एक अविस्मरणीय सांस्कृतिक यात्रा पर भी ले गया।
समापन समारोह का मुख्य आकर्षण पद्मश्री अनुज शर्मा की सुरमयी प्रस्तुति रही। उन्होंने “आरुग हे कलशा दाई…”, “ससुराल गेंदा फूल…”, “मोर छाहिया भुईयां…” और “झन भूलो मां बाप ला…” जैसे सुपरहिट गीतों की प्रस्तुति से पूरे माहौल को संगीतमय कर दिया। उनकी मधुर आवाज ने दर्शकों को झूमने और तालियों की गड़गड़ाहट से मंच गूंजने पर मजबूर कर दिया।
सोनी टीवी के सुपर डांसर फेम अनिल टांडी ग्रुप ने अपनी धमाकेदार प्रस्तुति से कार्यक्रम में ऊर्जा भर दी। उनकी शानदार कोरियोग्राफी और स्टेज प्रेजेंस ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। वहीं, स्थानीय विद्यालयों के विद्यार्थियों द्वारा प्रस्तुत छत्तीसगढ़ी लोकनृत्य और भजनों ने भी खूब वाहवाही बटोरी।
महोत्सव में बैगा नृत्य, कत्थक और लोकनृत्य की मनमोहक प्रस्तुतियां भी देखने को मिलीं। बसंता बाई एवं उनके दल ने छत्तीसगढ़ी बैगा नृत्य प्रस्तुत कर दर्शकों को रोमांचित किया। संगीता कापसे और राधिका शर्मा ने अपनी कत्थक प्रस्तुति से कला का उत्कृष्ट प्रदर्शन किया। वहीं, लोक कलाकार दानी वर्मा ने ‘परसा के फुल’ लोक विधा पर प्रस्तुतिकरण से दर्शकों का मन मोह लिया। भजन गायक नासीर निदंर ने अपनी भक्तिमय प्रस्तुति से समापन समारोह में आध्यात्मिक रंग घोल दिया।
लेजर शो बना आकर्षण का केंद्र
समारोह के अंतिम चरण में आयोजित विशेष लेजर और लाइट शो ने कार्यक्रम को और भव्य बना दिया। आधुनिक तकनीक से सजे इस शो ने दर्शकों को रोमांचित कर दिया और भोरमदेव महोत्सव की भव्यता को नई ऊंचाइयां दीं।